Sunday, September 8, 2019
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दिल का क्या कसूरSept 13, 2019
दिल का क्या कसूर ⇔ हम तेरी याद से खुद को बचा ना सकेऔर तेरी दोस्ती को छुपा ना सकेये भी मालूम था कि पा ना सकेंगे तुम्हेमगर फिर भी उम...
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शराबीSept 12, 2019
शराबी सोचा था मैखाने में जाकर,तेरी हर एक याद भुला को भुला दूँगा इतनी पिऊंगा शराब की तुझे...
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रूह Sept 12, 2019
रूह एक चिंगारी उठी तेरे जिस्म से,जल उठा मेरा रोआँ-र...
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मेरा गाँव Sept 11, 2019
मेरा गाँव अपने गाँव का है एक चेहरा, डरा-डरा सा लगता है और सावन में भी पतझड़ जैसा, झरा-झरा सा लगता है पनघट सुना-सुनी च...
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